Latest

फुलसंदे वाले बाबा बोले- मोदी-योगी देव आत्माएं

मुरादाबाद, महज 19 वर्ष की आयु से अध्यात्म की राह पर चल निकले फुलसंदे वाले बाबा किसी परिचय के मोहताज नहीं हैं। आधुनिक बाबाओं की चकाचौंध की तरह न तो उनकी लग्जरी लाइफ स्टाइल है, न विदेशी भक्तों का दिखावा और न ही आश्रमों की श्रखंला। चकाचौंध से दूर धरातल पर बेहद सादगी से अपने भक्तों के बीच सत्संग कर उनकी आध्यामिक उन्नति के मिशन में जुटे बाबा का सामाजिक सरोकारों से भी करीबी नाता है।

बेसहारा बेटियों के विवाह से लेकर युवाओं में नशे की लत छुड़ाने तक बाबा कई मोर्चों पर सामाजिक जिम्मेदारियों का बोझ भी अपने कंधों पर उठाए हैं।

बाबा ने अपनी आध्यात्मिक यात्रा के रोमांचक अनुभवों से लेकर पुनर्जन्म पर अपने अनुभवों व विचारों को दैनिक भास्कर से बेबाकी से साझा किया। संभल में हरिहर मंदिर और जामा मस्जिद के विवाद पर भी उन्होंने खुलकर अपनी राय रखी।

इसके साथ ही ये भी कहा कि योगी और मोदी ईश्वर द्वारा इस धरती पर भेजी गई देव आत्माएं हैं। संभल हिंसा पर बाबा ने कहा कि मुगलों ने जो बोया वही फल रहा है। कर्मों का फल हर किसी को भुगतना ही पड़ता है, फिर चाहे वो सामान्य मनुष्य हो या देव आत्माएं।

19 वर्ष की अवस्था में मृत्यु के देवता भगवान यम जब मुझे परलोक में ले गए तो उन्होंने मुझे एक पहाड़ दिखाया। जहां बहुत शरीर रखे थे। या यूं कहिए कि बहुत सारे योगी ध्यान में बैठे थे। इतने कि उन्हें गिनना संभव नहीं था…असंख्य थे। मृत्यु के देवता बोले, तुम्हें पता है ये लोग कौन हैं। मैंने कहा प्रभु मुझे नहीं पता। कहा- ये तुम्हारे पिछले जन्मों के वो शरीर हैं, जिन शरीरों में तुमने प्रभु को याद किया। वो रोमांच का समय था मेरे लिए।

मैं सभी से कहता हूं कि हम सभी लोगों के बार-बार जन्म होते हैं। बहुत सारे लोग इसे नकार देते हैं सिरे से। ऐसे लोग तर्क देते हैं कि हमारे धर्म ग्रंथ में तो है ही नहीं। मैं पूछता हूं कि धर्म ग्रंथ में मोबाइल कहां हैं। बहुत ऐसा समय है जो बदलता रहता है। प्राचीन समय है। तथ्य ओर सत्य तो हमेशा बने रहेंगे।

Umh News india

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *