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Noida Pollution: नोएडा में जहरीली हवा पर नियंत्रण के लिए GRAP लागू

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नोएडा: यूपी के नोएडा में वायु प्रदूषण को नियंत्रित करने के लिए नोएडा में ग्रैंड रिस्पॉन्स एक्शन प्लान (GRAP) लागू कर दिया गया है. इस योजना के तहत दिनांक 15 अक्टूबर को नोएडा प्राधिकरण की 14 टीमों ने क्षेत्र के विभिन्न 40 स्थलों का निरीक्षण किया. इस दौरान लोगों को GRAP की गाइड लाइंस और नेशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल (NGT) के नियमों के अनुपालन के प्रति जागरूक किया गया.

इन टीमों ने धरातल पर शुरू किया काम

वायु प्रदूषण को नियंत्रित करने के लिए नोएडा के मुख्य मार्गों पर 20 टैंकरों के माध्यम से 63.58 किलोमीटर सड़कों पर शोधित जल का छिड़काव किया गया, जिससे धूलकणों के उड़ने पर नियंत्रण पाया जा सके. साथ ही जन स्वास्थ्य विभाग ने 12 मैकेनिकल स्वीपिंग मशीनों के जरिए 340 किलोमीटर की सफाई कराई. नोएडा में निर्माण स्थलों से उठने वाले धूल और मलवे को नियंत्रित करने के लिए 527.45 टन निर्माण और विध्वंस (C&D) कचरे का उठान और प्रसंस्करण किया गया. इसके अलावा विभिन्न निर्माण स्थलों पर 38 एंटी-स्मॉग गन मशीनों का संचालन किया गया. ताकि वायु प्रदूषण को नियंत्रित किया जा सके.

वहीं, उत्तर प्रदेश प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड ने भी वायु गुणवत्ता की निगरानी के लिए तीन टीमें गठित की हैं. वर्तमान में नोएडा का वायु गुणवत्ता सूचकांक (AQI) 150 से ऊपर है. यदि AQI 200 पार करता है, तो GRAP के स्तर 1 के तहत सख्त कदम उठाए जाएंगे और 300 से ऊपर होने पर GRAP के स्तर 2 के उपाय लागू किए जाएंगे.

वहीं, 400 से ऊपर AQI को गंभीर श्रेणी में माना जाता है. नोएडा के क्षेत्रीय अधिकारी उत्सव शर्मा ने  GRAP के नियमों के पालन को अनिवार्य बताते हुए कहा कि वायु प्रदूषण से निपटने के लिए यह कदम जरूरी है. इसके लिए अधिकारियों ने सभी निवासियों से सहयोग की अपील की है.

गाइडलाइन उल्लंघनकर्ता पर लगेगा जुर्माना 

बता दें कि नोएडा प्राधिकरण की 14 टीमें प्रतिदिन विभिन्न निर्माण परियोजनाओं और सड़कों का निरीक्षण करेंगी. यदि किसी निर्माण स्थल पर सामग्री को ग्रीन नेट से न ढकने, पानी का छिड़काव न करने या GRAP गाइडलाइन का उल्लंघन पाया गया, तो उन पर नियमानुसार जुर्माना लगाने के साथ कार्रवाई की जाएगी.

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