महिलाएं जरूर जान लें : कैसे समझें कि आपके हार्मोन्स में आ रही है परेशानी
अगर आप ब्लॉटिंग, चिड़चिड़ापन महसूस कर रही हैं तो इसकी वजह हार्मोनल इंबैलेंस हो सकता है. वेबएमडी के मुताबिक, दरअसल, हार्मोन्स ऐसे कैमिकल्स हैं जो बॉडी में ‘मैसेंजर’ की तरह काम करते हैं और सेल्स व ऑर्गन्स फंक्शन को सही तरह से काम करने में मदद करते हैं
हार्मोन्स का लेवल जीवन में कई बार अधिक या कम होता रहता है, जैसे, पीरियड्स से पहले, पीरियड्स के दौरान, प्रेगनेंसी में और मेनोपॉज के दौरान. लेकिन कुछ दवाओं, लाइफस्टाइल चेंज और सही डाइट चार्ट फॉलोकर आप इसके स्तर को नीचे या बढ़ा सकते हैं और इसके बुरे प्रभावों से बच सकते हैं. हम बता रहे हैं कि इसके क्या क्या लक्षण शरीर पर दिखते हैं.
सोने में परेशानी: अगर आपकी नींद पूरी नहीं हो पा रही या आप गहरी नींद में नहीं जा पातीं तो यह एस्ट्रोजेन के कम रिलीज होने के कारण हो सकता है. यह परेशानी पीरियड्स के दौरान या मेनोपॉज से पहले महिलाओं को काफी परेशान करती है
स्किन और बालों में समस्या: अगर स्किन पर बहुत अधिक एक्ने पिंपल्स हो रहे हैं या स्किन ड्राई होने लगी है, स्किन पर पैच बन रहे हैं तो यह भी हार्मोनल बदलाव की वजह हो सकता है. यही नहीं, बालों का झड़ना, तेजी से पतला होना भी इसकी वजह होती है
शरीर में बदलाव: एस्टोजेन ड्रॉप होने की वजह से महिलाओं में ब्रेस्ट साइज में बदलाव आने लगता है. वहीं निजी अंगों में ड्राइनेस की समस्या रहती है, अक्सर सिर में दर्द रहता है, रात के वक्त अत्यधिक पसीना आता है, पाचन की समस्या हमेशा परेशान करती रहती है
वजन का बढ़ना: हार्मोनल इंबैलेंस की वजह से वजन का बढ़ना एक कॉमन लक्षण माना जाता है. हालांकि हार्मोन चेंज होने का डायरेक्ट असर वेट पर नहीं पड़ता है बल्कि एस्ट्रोजेन लेवल ड्रॉप होने से आप को अधिक खाने का मन करता है और इसकी वजह से आप वेट गेन करने लगते हैं
तेजी से वजन घटना: थायराइड ग्लैंड का काम शरीर को कितनी जल्दी फूड से एनर्जी बनाना है, यह निर्णय करने में मदद करना है. यही नहीं, यह आपकी धड़कन और टेम्परेचर को भी प्रभावित करता है. ऐसे में जब शरीर उचित हार्मोन नहीं बना पाता तो इससे वजन तेजी से गिरने लगता है.